कटले बानी आज छाली
सजाव दही के.
आवतारन सैयां
सखी आज टेम्पू से.
खिलायेम आज भरपेट
दाल में घी दाल के.
आवतारन सैयां
सखी आज टेम्पू से.
बानी आज नहईले
आज सेम्पु से.
आवतारन सैयां
सखी आज टेम्पू से.
अंग – अंग कसके बानी तैयारी
नया चोली में.
आवतारन सैयां
सखी आज टेम्पू से.
बात भइल रहल
कंजूस Crassa से.
आवतारन सैयां
सखी आज टेम्पू से.
These lines were inspired by the Bhojpuri song https://www.youtube.com/watch?v=dMoEE-Ln4dk
परमीत सिंह धुरंधर